Ganj ul Arsh 1.8

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करीबन Ganj ul Arsh

एक दिन मोहम्मद (आरी) मस्जिद में बैठा था और हजरत जिब्रील (एएस) इस दुआ को रसूलुल्लाह साल अल्लाहू अलाही वा आलीही वा सालिम के पास ले आया । हजरत जिब्रील अलाही सलाम ने कहा कि इसमें बहुत सारे फधिल [एहसान] के अलावा • सबसे पहले, अल्लाह (SWT) उसे घुंघराला [अज्ञात स्रोतों] से rizq [आजीविका] देता है, दूसरा, वह बुरी नजर और बुरे मंत्र से सुरक्षित होगा और तीसरा, जो कोई भी इस दुआ का पाठ करता है उसके दुश्मन उस पर काबू पाने में सक्षम नहीं होगा । वह उनसे श्रेष्ठ होगा। • जिहाद करने वाले शख्स का ऊपरी हाथ होगा। वह यात्रा पर जाता है, वह अपनी सारी चीजें लेकर वापस आ जाएगा । वह शातिन की शाट से सुरक्षित रहेंगे। वह पृथ्वी पर सभी बुरी चीजों और कीड़े और अन्य चीजों और आसमान में बुरी चीजों को अल करने से सुरक्षित रहेगा।